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Astrology

5 जून को चंद्र ग्रहण

June 04, 2020 10:30 AM

5 जून  को चंद्र ग्रहण 

मदन गुप्ता सपाटू, ज्योतिर्विद्, चंडीगढ़,9815619620

भारत के बहुत से पंचागांे में 5 जून के इस चंद्र ग्रहण का उल्लेख ही नहीं किया गया है क्योंकि यह उपच्छाया ग्रहण होगा और अफ्रीका, आस्ट्र्ेलिया , युरोप में ही  अधिक दिखेगा। इसी लिए ज्योतिषियों के एक वर्ग ने सूतक काल को विशेष महत्व नहीं दिया है और न ही इसके प्रभाव को और किसी खास सावधानी बरतने को। चूंकि ग्रहण रात में है, लॉकडाउन के कारण मंदिर अभी खुले नहीं हैं, अतः यह ग्रहण सोते समय ही निकल जाएगा। अतः भारत के वासियों को अधिक चिंता की आवश्यकता नहीं है। फिर भी इस ग्रहण की हम पूरी जानकारी दे रहे हैं।

साल का दूसरा चंद्र ग्रहण 5 जून 2020 को लगने वाला है. इससे पहले जनवरी में साल का पहला चंद्रग्रहण पड़ा था. जून का माह खगोलीय घटनाओं के लिहाज से बहुत महत्वपूर्ण है. इस माह दो ग्रहण लग रहे हैं. . खगोलीय घटनाओं के अनुसार इस वर्ष यानि वर्ष 2020 में 6 ग्रहण लगेंगे. पहला ग्रहण 10 जनवरी को लग चुका है और दूसरा 5 जून को लगने जा रहा है. इसके बाद इसी माह यानि 21 जून को ही तीसरा ग्रहण जो सूर्य ग्रहण है लगेगा. जून का माह बहुत ही विशेष है इस माह में दो ग्रहण लग रहे हैं. खास बात ये हैं कि चंद्र और सूर्य ग्रहण दोनों ही इस माह लग रहे हैं. ज्योतिष शास्त्र के अनुसार ये ग्रहण देश और दुनिया में उथल पुथल की स्थिति बना सकते हैं.

इस समय 6 ग्रह वक्री चल रहे हैं. राहु- केतु के अलावा इस समय शनि, बृहस्पति, शुक्र और प्लूटो ये चारों ग्रह भी वक्री चल रहे हैं. ये चंद्र ग्रहण वृश्चिक राशि पर पड़ने वाला है.

 

भारतीय समयानुसार यह रात 11 बजकर 16 मिनट से शुरू होकर अगली तारीख 6 जून की रात 2 बजकर 32 मिनट तक रहेगा। 12 बजकर54 मिनट पर पूर्ण चंद्रग्रहण होगा। ज्योतिषीय गणना के अनुसार यह ग्रहण वृश्चिक राशि और ज्येष्ठा नक्षत्र में लगेगा।यह चंद्रग्रहण उपछाया ग्रहण होगा. ग्रहण 5 जून की रात 11 बजकर 15 मिनट से लगना आरंभ हो जाएगा जो अगले दिन रात के 2 बजकर 34 मिनट तक रहेगा. ग्रहण के समय चंद्रमा वृश्चिक राशि में भ्रमण करेगा.  उपछाया में पूर्ण चंद्र ग्रहण नहीं पड़ता इसमें चंद्रमा सिर्फ धुंधला सा दिखाई पड़ता है इस कारण से इसे चंद्र मालिन्य भी कहते हैं. इस वजह से इस खगोलीय घटना को चंद्रग्रहण की जगह उपछाया चंद्रग्रहण कहते हैं.

चंद्र ग्रहण का  समय

चंद्र ग्रहण का समय शुरू – 5 जून को रात को 11.15

परमग्रास चन्द्र ग्रहण – 6 जून को दिन के 12.54 बजे

उपछाया चंद्र ग्रहण से अन्तिम स्पर्श – 2.34 बजे

चंद्र ग्रहण का कुल समय – 3 घंटे और 18 मिनट

सूतक काल क्या होता है

सूतक का मतलब है ऐसा समय जब प्रकृति ज्यादा संवेदनशील होती है , ऐसे में किसी अनहोनी के होने की संभावना ज्यादा होती है. सूतक चंद्र ग्रहण और सूर्य ग्रहण दोनों के समय लगता है. ऐसे समय में सावधान रहना चाहिए और ईश्वर का ध्यान करना चाहिए. सूतक काल में हमें कुछ खास बातों का ध्यान रखाना चाहिए. किसी बच्चे के जन्म लेने के बाद भी उस घर के सदस्यों को सूतक की स्थिति में बिताने होते हैं. सूतक काल में किसी भी तरह का कोई शुभ काम नहीं किया जाता. यहां तक की कई मंदिरों के कपाट भी सूतक के दौरान बंद कर दिये जाते हैं.

उपच्छाया चंद्र ग्रहण होने के कारण सूतक काल का प्रभाव कम रहेगा. 
5 जून को लगने जा रहे चंद्र ग्रहण का सूतक काल मान्य नहीं है. उपच्छाया चंद्र ग्रहण होने के कारण इसमे सूतक काल नहीं होगा.

गर्भवती महिलाएं रखें ख्याल

गर्भवती महिलाओं को चंद्र ग्रहण के समय विशेष ध्यान रखने की आवश्यकता होती है. धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, ऐसी महिलाओं को चंद्र ग्रहण नहीं देखना चाहिए. चंद्र ग्रहण देखने से शिशु पर दुष्प्रभाव पड़ सकते हैं. गर्भवती महिलाओं को ग्रहण के समय कैंची, चाकू आदि से कोई वस्तु नहीं काटनी चाहिए.

सत्यनारायण भगवान की कथा का पाठ करें

हर माह पूर्णिमा तिथि पर भगवान सत्यनारायण की कथा करने की परंपरा पुराने समय से चली आ रही है। भगवान सत्यनारायण विष्णुजी का ही एक स्वरूप है। इस स्वरूप का संदेश यह है कि हमें कभी भी झूठ नहीं बोलना चाहिए, हमेश सत्य बोलें। जो लोग असत्य बोलते हैं, उनके जीवन में परेशानियां आती हैं।

विष्णुजी और महालक्ष्मी का अभिषेक करें

पूर्णिमा पर भगवान विष्णु के साथ ही देवी लक्ष्मी का अभिषेक करें। इसके लिए दक्षिणावर्ती शंख में केसर मिश्रित दूध भरें और ये दूध भगवान को अर्पित करें।

मंत्रों का जाप करें

पूर्णिमा पर अपने इष्टदेव के मंत्रों का जाप करना चाहिए। विष्णुजी मंत्र ऊँ नमो भगवते वासुदेवाय, शिव मंत्र ऊँ नम: शिवाय, गणेश मंत्र श्री गणेशाय नम:, सूर्य मंत्र ऊँ सूर्याय नम:, देवी मंत्र दुं दुर्गाय नम:, हनुमान मंत्र ऊँ रामदूताय नम:, श्रीकृष्ण के मंत्र कृं कृष्णाय नम: मंत्र का जाप कर सकते हैं।

जरूरतमंद लोगों को दान करें

इस दिन अपने सामर्थ्य के अनुसार जरूरतमंद लोगों को दान करें। दान में धन और अनाज दे सकते हैं।

 
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